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पैरों में जलन होने का कारण, जांच और इलाज – Burning Feet Causes, Diagnosis and Treatment in Hindi

burning sensation in the feet in Hindi आजकल हर उम्र के व्यक्तियों के पैरों में जलन होना एक आम बात हो गई है। पैर की नसों (तंत्रिकाओं) के क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण यह समस्या उत्पन्न होती है, जिसे न्यूरोपैथी (neuropathy) कहा जाता है। अधिकांशतः पैर में जलन डायबिटीज के कारण होती है। ज्यादातर मामलों में इस समस्या का इलाज तंत्रिकाओं के क्षतिग्रस्त होने की वजह को ध्यान में रखकर किया जाता है। आज हम जानेगें पैरों में जलन होने का कारण, जाँच, इलाज और पैर की जलन दूर करने के घरेलू उपाय के बारें में।

विषय सूची

पैरों में जलन होने की बीमारी क्या है – What is burning feet syndrome in Hindi

बर्निंग फीट सिंड्रोम या पैर में जलन होने की बीमारी व्यक्ति में कुछ विशेष लक्षणों का एक समूह है, जिसके अंतर्गत अक्सर पैर में गर्म और दर्दनाक संवेदनाएं बनी रहती हैं। इस बीमारी से पीड़ित व्यक्ति को रात में जलन अधिक तीव्र हो सकती है। लक्षण हल्के से लेकर गंभीर तक हो सकते हैं। गर्मी, झुनझुनी, चुभन, सुन्नता और दर्द जैसी संवेदनाएं पैरों के तलवों तक ही सीमित हो सकती हैं, लेकिन कुछ व्यक्ति में यह समस्या पैरों के ऊपरी हिस्से, एड़ियों और निचले पैर को भी प्रभावित कर सकती है।

पैर में किसी पुरानी चोट के कारण यह समस्या उत्पन्न हो सकती है। हमारी तंत्रिका संरचनात्मक रूप से मस्तिष्क और मांसपेशियों के बीच सूचनाओं का आदान प्रदान करती हैं तथा ताप, दाब और अन्य प्रतिक्रियाओं में सहायक होती हैं। लेकिन जब ये तंत्रिकाएं क्षतिग्रस्त हो जाती हैं, तो सूचनाएं भेजने का कार्य प्रभावित होने लगता है। इसकी वजह से पैर में जलन के कई लक्षण दिखने शुरू हो जाते हैं और ये लक्षण आते एवं जाते रहते हैं। पैरों में जलन का उपचार इसके अंतर्निहित कारण पर निर्भर करता है।

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पैरों में जलन होने के कारण – Causes of Burning Feet in Hindi

आमतौर पर पैर में जलन होने का मुख्य कारण मधुमेह और अधिक धूम्रपान करना होता है। लेकिन इस समस्या के पीछे और भी बहुत से कारण हो सकते हैं, जिनकी वजह से पैरों में जलन होने लगती हैं। पैर में जलन होने के प्रमुख कारण निम्न हैं:

  • किडनी से जुड़ी बीमारी से पीड़ित होना
  • लेड, मरकरी और आर्सेनिक जैसी भारी धातु विषाक्तता
  • एथलीट फुट (Athlete’s foot)
  • संक्रामक रोग जैसे- लाइम बीमारी, HIV, एड्स, उपदंश (syphilis), दाद (shingles) इत्यादि।
  • मधुमेह न्यूरोपैथी (Diabetic neuropathy) – इस स्थिति में अनियंत्रित उच्च ब्लड शुगर के कारण धीरे-धीरे रक्त वाहिकाओं और तंत्रिकाओं को नुकसान पहुंचता है।
  • अगर शरीर में थॉयराइड हार्मोन का स्तर कम है अर्थात् हाइपोथायरायडिज्म की समस्या है तो पैरों में जलन होने की समस्या उत्पन्न हो सकती है।
  • दवाओं का साइड इफेक्ट, विटामिन B6 का अधिक सेवन करना, एचआईवी की दवाएं लेना और कीमोथेरेपी की दवा का सेवन भी पैर में जलन होने का कारण बन सकता है।
  • अधिक शराब पीने की आदत, शरीर में विटामिन की कमी (जैसे- विटामिन B12, फोलेट और कभी-कभी विटामिन B6) के कारण भी पैर में जलन हो सकती है।
  • परिधीय धमनी रोग (Peripheral artery disease) – परिधीय धमनी रोग पैरों में रक्त लाने वाली धमनियों में संकुचन का कारण बनता है, जिससे पैर में जलन उत्पन्न हो सकती है। इस स्थिति में दर्द अक्सर चलने या व्यायाम करने से होता है।

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पैरों में जलन होने का निदान – Diagnosis of Burning Sensation in The Feet in Hindi

ज्यादातर लोगों में पैर में जलन होने का मुख्य कारण डायबिटीज होता है। ऐसे लोगों में इस बीमारी का निदान आसानी से किया जा सकता है। लेकिन कुछ लोगों को अचानक ही पैरों में जलन होने लगती है और यह अधिक बढ़ जाती है, ऐसे स्थिति में लोगों को उचित निदान के लिए टेस्ट करवाने की जरूरत होती है। डॉक्टर इस समस्या का निदान करने के लिए लक्षणों के आधार पर निम्न परीक्षण की सिफारिश कर सकते हैं, जैसे:

इलेक्ट्रोमायोग्राफी (EMG) – मांसपेशियों की तंत्रिका की उत्तेजना के आधार पर मांसपेशियों की प्रतिक्रिया या विद्युत गतिविधि को मापने के लिए इलेक्ट्रोमोग्राफी (ईएमजी) का उपयोग किया जाता है। ईएमजी टेस्ट के लिए मांसपेशियों में सूई डाली जाती है और इसकी प्रतिक्रिया के आधार पर रिपोर्ट तैयार की जाती है।

प्रयोगशाला टेस्ट (Laboratory tests) – पैरों में जलन के कारणों का पता लगाने के लिए प्रयोगशाला में खून की जाँच, पेशाब जांच और रीढ़ की हड्डी के लिक्विड का परीक्षण किया जाता है। सामान्य ब्लड टेस्ट के माध्यम से विटामिन के लेवल की भी जांच की जाती है। इसके अतिरिक्त पैर में जलन होने के कारणों का निदान करने के लिए थायराइड हार्मोन टेस्ट, किडनी फंक्शन टेस्ट, और HIV टेस्ट की आवश्यकता पड़ सकती है।

नर्व बायोप्सी (Nerve biopsy) – गंभीर परिस्थितियों में नर्व बायोप्सी नामक टेस्ट का भी उपयोग किया जाता है। इसके लिए डॉक्टर नर्व टिशू का एक छोटा टुकड़ा निकालकर सूक्ष्मदर्शी से परीक्षण करते हैं।

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पैरों में जलन का इलाज – Burning Feet Treatment in Hindi

पैर में जलन होने की स्थिति में इलाज प्रक्रिया इसके अंतर्निहित कारण पर निर्भर करती है। इलाज के लिए निम्न तरीकों का इस्तेमाल किया जा सकता है, जैसे:

  • एथलीट फुट के इलाज के लिए एक एंटिफंगल दवा
  • अधिक आरामदायक जूते का इस्तेमाल
  • विटामिन बी सप्लीमेंट
  • थायराइड सप्लीमेंट (thyroid supplements)
  • मधुमेह की स्थिति में इलाज के दौरान आहार परिवर्तन या दवाओं की सिफारिश की जा सकती है।

अन्य गंभीर तंत्रिका दर्द के इलाज के लिए निम्न प्रक्रियाओं का उपयोग किया जा सकता है, जैसे:

  • विद्युत तंत्रिका उत्तेजना (electrical nerve stimulation)
  • लेजर थेरेपी (laser therapy)
  • लाइट थेरेपी (light therapy), इत्यादि।

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पैरों में जलन का घरेलू इलाज – Burning sensation in feet home remedies in Hindi

इस प्रकार की पैर की जलन और दर्द की स्थिति में डॉक्टर को दिखाना महत्वपूर्ण है। हालांकि कुछ विशेष घरेलू इलाज आजमाकर आप पैरों की जलन को दूर कर सकते हैं। आइए जाने पैर की जलन दूर करने के घरेलू उपाय क्‍या हैं?

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पैर की जलन का घरेलू उपाय एप्पल साइडर विनेगर Burning Feet home treatment apple cider vinegar in Hindi

शरीर के पीएच लेवल को संतुलित रखने और पैर की जलन को शांत करने में एप्पल साइडर विनेगर बहुत सहायक होता है। एक गिलास गर्म जल में दो चम्मच एप्पल साइडर विनेगर मिलाकर प्रतिदिन पीने से पैरों में जलन की समस्या दूर हो जाती है। इसके अलावा गर्म पानी में एप्पल साइडर विनेगर मिलाकर पैरों की सिकाई करने से भी दर्द और जलन से राहत मिलती है। एप्पल साइडर विनेगर को  दैनिक आहार में भी शामिल किया जा सकता है।

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पैरों में जलन के लिए घरेलू नुस्खा है हल्दी Turmeric is a home remedy for burning feet in Hindi

हल्दी में करक्यूमिन (Curcumin compound) नामक तत्व अधिक मात्रा में पाया जाता है, जो पूरे शरीर में ब्लड सर्कुलेशन को बेहतर बनाने में मदद करता है। इसके अलावा हल्दी में एंटी इंफ्लेमेटरी गुण पाया जाता है, जो पैर की जलन को दूर करने के लिए उपयोगी है। एक गिलास गर्म जल में एक या दो चम्मच हल्दी मिलाकर नियमित दिन में दो बार पीने से पैर की जलन दूर हो जाती है। हल्दी और पानी का पेस्ट बनाकर पैर में लगाने से भी जलन और सूजन से राहत मिलती है।

(और पढ़ें: हल्दी के फायदे गुण लाभ और नुकसान..)

पैरों में जलन का इलाज ठंडे पानी से Home remedies for burning feet Cold Water in Hindi

जल्द से जल्द पैर की जलन से राहत प्राप्त करने के लिए ठंडा पानी एक बेहतरीन घरेलू उपाय है। ठंडा पानी पैर की सूजन, पैर की सुन्नता और झुनझुनी को समाप्त कर देता है। ठंडे पानी से भरे टब में अपने पैरों को कुछ मिनिट तक डुबोए रखें और फिर निकाल लें। दिन में यह प्रक्रिया कई बार दोहराएं, इससे पैरों की जलन दूर हो जाएगी। जलन समाप्त करने के लिए पैर को पानी में अधिक देर तक भिगो कर न रखें, अन्यथा इससे कई खतरनाक लक्षण उत्पन्न हो सकते हैं। इसके अलावा बर्फ के टुकड़े को भी पैरों पर रखने से जलन दूर हो जाती है। यह उपाय एरिथ्रोमेललगिया (erythromelalgia) से पीड़ित व्यक्तियों के लिए यह उपाय नहीं अपनाना चाहिए।

(और पढ़ें: ठंडा पानी पीने के फायदे और नुकसान..)

पैर के तलवों की जलन में इप्सम सॉल्ट फायदेमंद Epsom Salt Home Remedies For Burning Feet in Hindi

इप्सम साल्ट में प्राकृतिक रूप से मैग्नीशियम सल्फेट पाया जाता है जो पैरों की जलन, दर्द और सूजन को कम करने के लिए फायदेमंद माना जाता है। एथलीट फुट के लक्षणों को भी कम करने के लिए सेंधा नमक एक प्रभावी घरेलु नुस्खा है। एक टब गर्म पानी में आधा कप इप्सम साल्ट मिलाकर पैरों को टब में दस से पंद्रह मिनट तक डुबोए रखें। कुछ दिनों तक नियमित यह प्रक्रिया दोहराने से पैरों में जलन की समस्या दूर हो जाती है।

(और पढ़ें: सेंधा नमक के फायदे गुण लाभ और नुकसान)

पैर में जलन का आयुर्वेदिक इलाज अदरक – Ayurvedic treatment for burning feet Ginger in Hindi

अदरक में कई तरह से एक्टिव कंपाउंड पाये जाते हैं, जो शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बढ़ाने में फायदेमंद होते हैं। अदरक का तेल पैरों की जलन को समाप्त करने का रामबाण इलाज है। एक चम्मच अदरक के रस में नारियल के तेल (coconut oil) को हल्का गर्म करके मिलाएं। फिर इस मिश्रण से दस या पंद्रह मिनट तक अपने पैरों की मसाज करें। इसके अलावा दो या तीन कप अदरक की चाय प्रतिदिन पीने से भी पैरों का दर्द, सूजन और जलन खत्म हो जाती है।

(और पढ़ें: अदरक के फायदे, औषधीय गुण, उपयोग और नुकसान..)

पैरों के तलवों में जलन की दवा करेले का पेस्ट – Bitter gourd paste for burning feet in Hindi

आयुर्वेद में करेला का उपयोग पैर की जलन को दूर करने के लिए किया जाता है। इसलिए यदि आप पैरों की जलन से पीड़ित हैं, तो करेले का इस्तेमाल कर सकते हैं। करेले की पत्तियों को पीसकर इसमें थोड़ा पानी मिलाकर पेस्ट तैयार कर लें। फिर इस पेस्ट को पैरों के प्रभावित भाग पर लगाने से जलन जल्दी समाप्त हो जाती है। इस प्रक्रिया को कई बार दोहराने से शीघ्र लाभ मिलता है।

(और पढ़ें: करेले के जूस के फायदे, औषधीय गुण, नुकसान तथा जूस बनाने की विधि..)

जलन को दूर करने का घरेलू तरीका पैरों की मसाज – Foot massage reduce Burning sensation in Hindi

मालिश शरीर के किसी क्षेत्र में रक्त के प्रवाह को बढ़ाती है। इसलिए, यदि कोई व्यक्ति पैर में जलन या न्यूरोपैथी (neuropathy) की समस्या से पीड़ित है, तो इसके इलाज के लिए मालिश एक उत्तम घरेलू उपाय है। पैरों की मालिश कर रक्त परिसंचरण को बेहतर बनाया जा सकता है, जिससे जलन, दर्द, सुन्नता और झनझनाहट संबंधी लक्षण दूर हो सकते हैं। पैर की मालिश करने के लिए आप अदरक का तेल, नारियल तेल या जैतून के तेल की कुछ बूंदों का उपयोग किया जा सकता है।

पैरों में जलन होने का कारण, निदान और उपचार (Burning Sensation Causes, Diagnosis and Treatment in The Feet in Hindi) का यह लेख आपको कैसा लगा हमें कमेंट्स कर जरूर बताएं।

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